Poos Ki Raat - Munshi Premchand - पूस की रात - मुंशी प्रेमचंद
Munshi Premchand
Narrateur Munshi Premchand
Maison d'édition: LOTUS PUBLICATION
Synopsis
पूस की रात मुंशी प्रेमचंद की यह कहानी हल्कू नाम के किसान की कहानी है। इस कहानी के माध्यम से कहानीकार ने उस दौरान के किसान की स्थिति की विवेचना की है। उनकी दयनीय स्थिति का चित्रण इस कहानी में इतना सटीक है कि आपकी आंखें नम हो जाएंगी।कलम के जादूगर मुंशी प्रेमचंद कलम के जादूगर प्रेमचंद की कहानियाँ आज भी बड़े ही ध्यान और सम्मान के साथ सुनी जाती हैं। आज हम लेकर आए हैं प्रेमचंद की वो कहानियाँ जो उनके कथा संकलन ‘मान सरोवर’ से ली गई हैं। प्रेमचंद की कहानियाँ अपने समय की हस्ताक्षर हैं जिनमें आप तब के परिवेश और समाज को भी बखूबी समझ सकते हैं। यूं तो मुंशी जी ने अपनी कहानियाँ हिंदी में ही लिखी हैं फिर भी हमारा ये प्रयास है की उनकी कहानियाँ ज़्यादा से ज़्यादा लोगों तक पहुंचे और इसलिए हमने उन्हें थोड़ी और सरल भाषा में प्रस्तुत किया है। इन कहानियों को ख़ास आपके लिए तैयार किया है। तो आइए सुनते हैं प्रेमचंद की विश्व प्रसिद्ध कहानियाँ!
Durée: 12 minutes (00:11:51) Date de publication: 26/03/2023; Unabridged; Copyright Year: — Copyright Statment: —

